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सोमवार, 17 मई 2021

शिशुगीत : चाचा जी -डॉ. नागेश पांडेय 'संजय'

चाचा जी  

डॉ. नागेश पांडेय 'संजय'
सांझ ढले कल मेरे चाचा,
आए हैं अजमेर से। 
बहुत थके हैं इसीलिए वे,
आज उठेंगे देर से। 
मेरे चाचा जी अफसर हैं,
खूब मजे में रहते हैं। 
मुझसा बनना है तो जमकर,

करो पढ़ाई कहते हैं। 

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